नदी पर कविता | Poem on Rivers in Hindi

आज हम ने नदी पर कविता हिंदी  लिखी है जीवन की शुरुआत से अंत तक नदियों का जीवित प्राणी पर काफी उपकार रहे हैं नदियां सदैव से ही मानव के लिए जीवन दायिनी रही है। नदियों से ही पृथ्वी पर जीवन संभव है। जीवन जीने के लिए सबसे महत्वपूर्ण स्रोत जल है जो नदियों, झरनों, झीलों से ही प्राप्त होता है। नदिया  बारिश का जल एकत्र कर उसे भूमि भाग में पहुंचाने का महत्वपूर्ण काम करती हैं। 

नदी पर हिंदी कविता | Poem on Rivers in Hindi


नदिया देश के विकास में बहुत महत्वपूर्ण साथ देती हैं फिर चाहे वह आर्थिक विकास सामाजिक विकास या फिर धार्मिक विकास ही क्यों ना हो नदी  से हमे एक नहीं अपितु  कई लाभ होते हैं। नदिया धरती पर जीवन जीने के लिए आशीर्वाद है नदिया सामाजिक आर्थिक और वैज्ञानिक तथा अन्य कई रूप से सहायक मानी जाती हैं। नदियां हमें जल प्रदान करने के साथ-साथ शुद्ध वातावरण भी देती हैं इसके अलावा नदियों से खेतों के लिए सिंचाई का पानी जीवन निर्वाह के  लिए मछली पालन के लिए तथा अन्य कई सारे रोजगार प्राप्त होते हैं।

नदी पर कुछ कविताएँ | Poem on Rivers in Hindi

चंचल अल्हड़ नदी सी हूँ मैं,
रूकना नही थकना नही
बस बहते जाना है मुझे
हमकदम बन सको तो बनों
साथी बनों,सहारा नहीं।

प्रेम तुम्हारा जीवन है मेरा
किंतु बंधन मुझे गवांरा नहीं
निस्वार्थ प्रेम कर सको तो करों
शर्ते लागू होसके जिस पर
वो रिश्ता हमारा नहीं!
---शीतल रघुवंशी 

भारत में नदियों का धार्मिक इतिहास बहुत ही रोमांचक रहा है पुराने समय से ही भारत को नदियों का देश माना जाता  है भारत में हमेशा से ही पवित्र नदियों में स्नान करने का प्रचलन चला आ रहा है। ऐसा माना जाता है कि भारत की प्रमुख कृतियों में से एक हड़प्पा तथा सिंधु घाटी सभ्यता भी नदी किनारे विकसित हुई है। भारत में कुछ प्रमुख पवित्र नदियां हैं जैसे गंगा, यमुना , सिंधु, ब्रह्मापुत्र , घाघरा नदी,  कोशी,  सरस्वती, कृष्णा, कावेरी,  सरयू आदि।

नदी के पानी का बहाव हमेशा ऊपर से नीचे की तरफ गुरुत्वाकर्षण की वजह से होता है नदिया में पानी धरातल पर और धरातल के नीचे बहता है नदियों के सूख जाने के बाद भी भूजल बहता रहता है नदिया समुद्र के पास आकर डेल्टा का निर्माण भी करती है। नदिया अपने उद्गम स्थल से  बहते हुए समुद्र में मिल जाती है। कुछ नदी  समुद्र में नहीं मिलती जैसे कि राजस्थान में मौजूद लूणी नदी ऐसी एक नदी है यह कुछ दूर जाकर लुप्त हो जाती है इसका कारण रेगिस्तान है। जिससे नदी का पानी रिस जाता है कई छोटी-बड़ी नदियां में जाकर मिल जाती है इससे नदी का फैलाव बढ़ जाता है।

एक टिप्पणी भेजें

और नया पुराने